नयी दिल्ली, 07 अप्रैल (वार्ता) दिल्ली के शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने सोमवार को कहा कि हम दिल्ली में शिक्षा के क्षेत्र में किसी भी तरह का व्यवसायीकरण बर्दाश्त नहीं करेंगे और बच्चों के हितों को सुरक्षित रखने के लिए हर तरह के प्रयास करेंगे।
श्री सूद ने आज कहा कि पिछली सरकार के 10 सालों के शासनकाल में दिल्ली के 1677 प्राइवेट स्कूलों में से सिर्फ 75 स्कूलों का ही हर साल ऑडिट किया गया है, जबकि दिल्ली शिक्षा अधिनियम 1973 के तहत सभी स्कूलों का प्रतिवर्ष ऑडिट करवाना जरूरी है। उन्होंने कहा, “मैं दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की सरकार की शिक्षा के प्रति प्राथमिकता को स्पष्ट करना चाहता हूं। हम दिल्ली में शिक्षा के क्षेत्र में किसी भी तरह का व्यवसायीकरण बर्दाश्त नहीं करेंगे। हम दिल्ली के बच्चों के हितों को सुरक्षित रखने के लिए हर तरह के प्रयास करेंगे।”
उन्होंने कहा, “मैं चुनौती देता हूं मनीष सिसोदिया को कि अगर उनके पास भ्रष्टाचार के संबंध में कोई भी सबूत हैं तो दें। टीवी के सामने आकर सरकार पर झूठे आरोप-प्रत्यारोप नहीं लगाएं। अगर उनको लगता है कि भ्रष्टाचार हो रहा है तो थाने में जाकर रिपोर्ट दर्ज कराएं। हमारी सरकार पर झूठे आरोप लगाएं जा रहे हैं कि दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में फीस बढ़ाने के लिए हम साजिश कर रहे हैं।” श्री सूद ने साफ किया कि साल 2004 के मॉर्डन स्कूल के केस में दिल्ली उच्च न्यायालय ने साफ कर दिया था कि किसी भी प्राइवेट स्कूल को फीस बढ़ाने से पहले दिल्ली शिक्षा निदेशालय की मंजूरी लेना जरूरी है। हमारी सरकार हर प्राइवेट स्कूलों की जांच करवाएंगी की किस-किस ने भष्टाचार किया है और दिल्ली में पिछले 10 वर्षों में किस स्कूल ने कितनी फीस बढ़ाई है।
शिक्षा मंत्री ने बताया कि श्री सिसोदिया एलकॉन इंटरनेशनल का बार-बार नाम ले रहे हैं। उन्होंने यह भी बताया कि डीपीएस, द्वारका स्कूल ने 2020 से लेकर 2025 तक बीते पांच वर्षों में लगातार 20, 13, नौ, आठ, सात फीसदी फीस बढ़ाई गई है। पिछली सरकार के शासन में सृजन स्कूल में 35 फीसदी फीस बढ़ाई गई। सृजन स्कूल में साल 2024-25 में 36 फीसदी फीस बढ़ाई गई। एलकॉन इंटरनेशनल ने 15 करोड़ रुपए बिना मर्जी के खर्च कर घपला किया था, फिर भी उस स्कूल को 2022-23 में 15 फीसदी फीस बढ़ाने की अनुमति दे दी गई। एलकॉन स्कूल ने 2024-25 में 13 फीसदी फीस बढ़ाई फिर भी कोई कार्रवाई नहीं की गई। एंजल पब्लिक स्कूल ने 42 लाख रुपए अनियमित्ता के लिए नोटिस दिया गया था। फिर भी स्कूल ने 2022-23 में 14 फीसदी फीस बढ़ा दी। रुकमिनी देवी पब्लिक स्कूल ने 11 फीसदी फीस बढ़ाई। लैंसर कॉन्वेंट ने 2024-25 में 34 फीसदी फीस बढ़ाई थी। आतिशी मार्लिना की सरकार ने तब क्यों नहीं कार्रवाई की।
श्री सूद ने यह भी बताया कि दिल्ली की मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद राजधानी के शिक्षा इतिहास में पहली बार डीपीएस, द्वारका स्कूल की जांच के लिए जिलाधिकारी के आदेश पर जांच कमेटी बनाई गई है। जिलाधिकारी कापसहेड़ा के नेतृत्व में डीपीएस द्वारका स्कूल की जांच चल रही है। पहली बार सरकार ने दिल्ली के सभी उपजिलाधिकारी (एसडीएम) के नेतृत्व में 1677 निजी स्कूलों में ऑडिट रिपोर्ट लेने के लिए कमेटी बानकर जांच करने के निर्देश दिए हैं। हर निजी स्कूल को शिक्षा अधिनियम 1973 में जो भी नियम कानून है उसका पालन करना ही होगा।
उन्होंने बताया कि हमने निजी स्कूलों में फीस वृद्धि से संबंधित मामले को लेकर उप निदेशक की अध्यक्षता में एक ईमेल आईडी डीडीईएसीटी1@जीमेलडॉटकॉम जारी कर दिया है। जिन अभिभावकों को स्कूलों में फीस वृद्धि को लेकर कोई भी शिकायत हैं वह मेल कर सकते हैं। इसके अलावा दिल्ली शिक्षा निदेशालय के दफ्तर में जाकर भी शिकायत कर सकते हैं।
