गठित समिति और अभिभावकों के आवेदन के आधार पर कार्रवाई
इंदौर: सरकारी स्कूल में छात्राओं की गलत तरीके से जांच करने वाली शिक्षिका पर एफआईआर दर्ज हो गई है. एफआईआर कलेक्टर द्वारा गठित समिति और अभिभावकों के आवेदन के आधार पर की गई है. इस मामले में हाई कोर्ट में भी याचिका दायर की गई है, जिसमें साथ अधिकारियों को पक्षकार बनाया है.पिछली 2 अगस्त को बड़ा गणपति चौराहे पर स्थित एक सरकारी कन्या स्कूल में मोबाइल को लेकर कुछ छात्राओं की जांच की गई थी. इसमें कक्षा छठवीं और सातवीं की छह छात्राओं की बाथरूम में गलत तरीके से शिक्षिका जया पंवार ने जांच की थी.
खास बात यह कि शिक्षिका जया पंवार ने प्राचार्य की अनुमति बगैर जांच की. इसको लेकर छात्राओं ने परिजन को बताया और परिजन स्कूल में हंगामा किया. मल्हारगंज थाने पर आवेदन दिया था. कलेक्टर आशीष सिंह ने शिक्षिका को स्कूल से हटाकर डीईओ कार्यालय में अटैच कर दिया, लेकिन इसके आगे कोई कार्रवाई नहीं हुई. कार्रवाई नहीं होने को लेकर गांधीवादी सामाजिक कार्यकर्ता चिन्मय मिश्र ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर कर दी. याचिका में मुख्य सचिव से लेकर मल्हारगंज थाना प्रभारी को पक्षकार बनाया.
बच्चियों के बयान के आधार पर कार्रवाई
इस मामले को लेकर कलेक्टर आशीष सिंह ने कमेटी गठित की थी, कमेटी की रिपोर्ट के आधार एवं परिजनों के आवेदन पर पुलिस ने बच्चियों के बयान लिए. पुलिस ने कमेटी की रिपोर्ट और बयान के आधार पर भारतीय न्याय संहिता के धारा 76,79 और जे एन जे 75 के तहत शिक्षिका पर एफआईआर दर्ज कर ली है. एफआईआर दर्ज करने की पुष्टि करते हुए डीसीपी विनोद कुमार मीणा ने बताया जांच कमेटी और परिजनों के आवेदन पर बच्चियों के बयान के आधार पर कारवाई की गई है