भारत ने अमेरिकी प्रतिनिधियों के बयानों से खुद को रखा अलग

नयी दिल्ली, 21 जून (वार्ता) भारत ने तिब्बत के निर्वासित धार्मिक नेता दलाई लामा से अमेरिकी कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल की मुलाकात की अनुमति दिए जाने पर चीन की आपत्तियों को आज खारिज कर दिया, लेकिन अमेरिकी प्रतिनिधियों के बयानों से खुद को अलग रखा।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने यहां नियमित ब्रीफिंग में अमेरिकी प्रतिनिधि सभा के सांसदों के एक दल के दौरे के बारे में पूछे जाने पर कहा, “सात सदस्यीय अमेरिकी कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल ने 16-20 जून 2024 तक भारत का दौरा किया। द्विदलीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व हाउस फॉरेन अफेयर्स कमेटी के अध्यक्ष प्रतिनिधि माइकल मैककॉल ने किया। उन्होंने 18-19 जून को धर्मशाला का दौरा किया।”

प्रवक्ता ने कहा कि अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से भी मुलाकात की और विदेश मंत्री एस. जयशंकर और सीआईएम से बातचीत की।

दलाई लामा के बारे में भारत की नीति दोहराते हुए श्री जायसवाल ने कहा, “परम पावन दलाई लामा पर भारत सरकार की स्थिति स्पष्ट और सुसंगत है। वह एक सम्मानित धार्मिक नेता हैं और भारत के लोग उनका गहरा सम्मान करते हैं। परम पावन को अपनी धार्मिक और आध्यात्मिक गतिविधियों के संचालन के लिए उचित शिष्टाचार और स्वतंत्रता दी गई है।”

अमेरिकी कांग्रेस में तिब्बत को लेकर नये कानून बनाये जाने और अमेरिकी प्रतिनिधियों के बयानों के बारे में उन्होंने कहा, “जहां तक ​​अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के बयानों का संबंध है, मैं आपको अमेरिकी पक्ष की ओर इशारा करूंगा। इस पर उन्हें ही जवाब देना है।”

 

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