श्रीनगर, 08 अक्टूबर (वार्ता) जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव में नेशनल कांफ्रेंस (एनसी) ने अनुमान से अच्छा प्रदर्शन करते हुये, अपने चुनावी भागीदार कांग्रेस के साथ मिलकर पुनः सत्ता में आने का मार्ग प्रशस्त कर लिया है।
राज्य विधानसभा की कुल 90 सीटों के चुनाव की मंगलवार को हुयी मतगणना में अब तक घोषित 84 सीटों के नतीजों में एनसी ने 39 सीटें जीती हैं और तीन सीटों पर उसके प्रत्याशी आगे चल रहे थे। उसके साथ मिलकर चुनाव लड़ी कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार छह सीटों पर विजयी हुये हैं। इस तरह दोनों पार्टियां मिलकर 45 सीटों पर जीत दर्ज कर चुकी हैं और उन्हें स्पष्ट बहुमत मिलना तय है।
पूर्व मुख्यमंत्री एवं एनसीपी के नेता उमर अब्दुल्ला ने अपनी पार्टी को मिले जन समर्थन को ‘उम्मीद से ज्यादा’ बताते हुये कहा है कि पार्टी लोगों की उम्मीदों पर खरा उतरने का प्रयास करेगी।
संविधान के अनुच्छेद 370 को समाप्त किये जाने के बाद एक अलग माहौल में इस केन्द्र शासित प्रदेश में हुये पहले चुनाव में बड़ी उम्मीद के साथ चुनाव लड़ने वाली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को 27 सीटें मिली हैं और दो सीटों पर उसके प्रत्याशी आगे चल रहे थे। भाजपा की सफलता मुख्य़तः जम्मू क्षेत्र में रही।
राज्य में तीसरी सबसे बड़ी राजनीतिक ताकत माने जाने वाली महबूबा मुफ्ती की पार्टी (पीडीपी) केवल तीन सीटों पर सिमट गयी है, जबकि सात सीट पर निर्दलीय उम्मीदवार जीते हैं। डोडा सीट जीतकर आम आदमी पार्टी (आप) के उम्मीदवार मेहराज मलिक ने जीत दर्ज कर राज्य में पहली बार अपनी पार्टी का खाता खोला है।
जम्मू-कश्मीर पीपुल्स कांफ्रेंस (जेपीसी) एक सीट पर विजयी हुयी है, जबकि एक सीट पर मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) का उम्मीदवार आगे चल रहा था।