जबलपुर: मप्र हाईकोर्ट ने अनुकंपा नियुक्ति को लेकर दायर मामले में कलेक्टर को निर्देशित किया है कि वह आवेदक की शैक्षणिक योग्यता व पात्रता को ध्यान में रखते हुए उसके दावे पर उचित निर्णय ले। जस्टिस विवेक जैन की एकलपीठ ने डीईओं द्वारा जारी अनापत्ति प्रमाण पत्र पर विचार करते हुए दो माह में निर्णय लेने के निर्देश दिये है।
यह मामला छतरपुर निवासी आर्यांश खरे की ओर से दायर किया गया था। जिसमें कहा गया कि उसके पिता स्कूल शिक्षा विभाग में असिस्टेंट ग्रेड-थ्री के पद पर पदस्थ थे। सेवाकाल के दौरान दो दिसंबर 2022 को उनकी मृत्यु हो गई।
याचिकाकर्ता ने अनुकंपा नियुक्ति का आवेदन दिया। शिक्षा विभाग ने इस आशय से अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी किया कि विभाग में उक्त पद रिक्त नहीं है। आवेदक को किसी अन्य विभाग में समायोजित कर लिया जाये। याचिकाकर्ता ने इस संबंध में कलेक्टर को आवेदन प्रस्तुत किया। जिला शिक्षा अधिकारी ने भी कलेक्टर को उक्त अनापत्ति प्रमाण पत्र प्रेषित कर दिया। इसके बावजूद कलेक्टर ने आवेदन पर निर्णय नहीं लिया। जिस पर हाईकोर्ट की शरण ली गई। सुनवाई पश्चात् न्यायालय ने उक्त निर्देश दिये।