
(सचिन शितोले) निवाली। नगर की एक शख्सियत 9 सालों से क्षेत्र में गौसेवा से देवास जिले के खातेगांव नाम कमा रहे हैं। मैं बात कर रहा हूं पद्मश्री स्व कांता बहन त्यागी शासकीय महाविद्यालय निवाली के प्राचार्य डॉ अभय जैन जो देवास जिले के खातेगांव में रहते हैं और खातेगांव में ही गौ सेवा का बीड़ा उठाकर मित्रों व सहयोगियों का साथ लेकर 9 साल से गली-गली और चौराहे-चौराहे घूम कर गौमाता, नंदी महाराज और श्वानों को रोटी खिला रहे हैं। सेवा का यह कार्य शाम 6 बजे शुरू होता है, जो 9-10 बजे तक चलता रहता है। बाईक पर साथी बैठा कर झोले में 11 किलो आटे की रोटियां प्रतिदिन रखकर जहां गौ माता व नंदी महाराज दिखे। वहीं रोक कर उनको रोटी खिलाने लग जाते हैं। एक तरह से लोगों को यह पागलपन लगता होगा पर उनमें सेवा की ऐसी लगन लगी हुई है कि वह किसी की फिक्र नहीं करते घर वाले भी रोकते हैं अब परीजनों ने भी टोकना बंद कर दिया है। कई मित्र भी इस पागलपन पर उनकी हंसी उड़ाते हैं, परंतु इस अजीब सेवा को लेकर वह किसी की बातों पर ध्यान नहीं देकर अपने सेवा के काम में मगन निकल पड़ते हैं।
उनमें सेवा का यह जज्बा ऐसे जग इस पर वह बताते हैं 4 सितंबर सन 2016 में गणेश चतुर्थी पर वह कहीं मित्रों के साथ घूमने जा रहे थे। तब किसी वाहन ने गौ माता को टक्कर मार दी, उसके बाद से उनमें गाय के प्रति दया जागी और साथियों के साथ गौ माता को एक सडक़ से हटाकर अपने मित्र पशु चिकित्सक मित्र पवन तिवारी को बुलाकर उसका इलाज के लिए तैयार किया। लगभग दो माह की स्थिति के बाद गए तो ठीक हो गई, लेकिन उनमें मुख्य प्राणी गौ माता के प्रति सेवा का ऐसा जज्बा जागा खातेगांव में जितने चौराहा गलियों पर माता नंदी महाराज दिखाई देते उनके लिए अपने घर से रोटी ले जाकर उन्हें खिलाने बाईक लेकर निकल पडते हैं गौसेवा के लिए रायपुर छत्तीसगढ़ मे संस्थाओं द्वारा पुरस्कृत व सम्मानित भी हुए हैं।
65 वर्षीय डॉ अभय जैन ने गौसेवा नंदी सेवा के लिए पांच सौ रूपए प्रतिमाह के पचास सदस्य है कुछ स्थानीय लोग हैं तो कुछ मुंबई दिल्ली भोपाल जैसे शहरों से भी कुछ लोग है एक जिला जज सीहोर अभिलाष जैन ने अपने भाई की स्मृति में 11 हजार रूपए दो साल की राशि अग्रिम भेज दी है। 11 किलो आटे की रोटी कौन बनाता है पर बताया कि खातेगांव शहर में कुछ गरीब परिवारों की माता बहनों को तीस रूपए प्रति किलो रोटी बनवाई की सहयोग राशि दी जाती है ऐसी पांच छ परिवार है जिनको आटा चक्की वाले ललित काला से माता बहनों परिवारजन स्वयं आटा ले जाते हैं और रोटी बनाकर डॉ अभय जैन के घर के आगे के कमरे में दरवाजा खोल कर रोटी की थैली रखकर चले जाते हैं।
अभय जैन आजकल खातेगांव से ढाई सौ किलोमीटर दूर बडवानी ़जिले के निवाली के शासकीय महाविद्यालय में प्राचार्य है। जैन साहब की अनुपस्थिति में साथी समाज सेवक पवन वर्मा और उनके 70 वर्षीय पिता श्याम लाल वर्मा गायों व नंदी महाराज को रोटी खिलाने कि जिम्मेदारी संभालते हैं।
प्राचार्य डॉ अभय जैन इस सेवा के अलावा खातेगांव शहर में अकेले ने दान एकत्रित कर भव्य गणेश मंदिर का निर्माण जन सहयोग से करा कर भव्य गणेश मंदिर भी बनवा दिया है वही शहर में खेडापति, बालाजी, हनुमान मंदिर निर्माण व अन्य कोई भी भी धार्मिक समाजिक गतिविधि हो आपकी अग्रणी भूमिका रहती है। खातेगांव के अनंतचर्तुदशी के चल समारोह कि नेतृत्व वर्षों से कर रहे हैं।
चर्चा में कहते हैं कि निवाली क्षेत्र में भी गौसेवा का भाव जागृत हो आप का कहना है कि खातेगांव हो निवाली हो बडवानी इंदौर हो छोटे गांव हो या शहर सभी जगह गौमाता कुडोकरकट के ढेर कचरा या प्लास्टिक पन्नी खाते हुए दिख जाएगी ऐसी स्थिति को रोकने के लिए गौ सेवा का बीड़ा समाजसेवी लोगों को उठाना चाहिए।
