शहर हित का मुद्दा
इंदौर: शहर में स्थित कई बिल्डिंगों और होटल्स में पार्किंग की जगह पर रेस्टोरेंट संचालित हो रहे है. सवाल उठता है कि प्रशासन उक्त रेस्टोरेंट पर कारवाई क्यों नहीं कर रहा है? वह भी उस स्थिति में जब आग लगने से लेकर बड़ी दुर्घटना होने का अंदेशा हो. क्या प्रशासन किसी दुर्घटना का इंतजार कर रहा है ?शहर के मध्य क्षेत्र में सूर्या होटल, चोटी वाला, गुरुकृपा, तुलसी और एंबेसेडर होटल, योजना 54, 74, 78, पश्चिम रिंग रोड से पूर्वी रिंग रोड के कई पार्किंग स्थलों पर खुलेआम रेस्टोरेंट संचालित हो रहे हैं. उक्त रेस्टोरेंट पर जिला प्रशासन ने अभी तक कोई कारवाई क्यों नहीं की?
क्या प्रशासन किसी दुर्घटना और दो चार दस लोगों के मरने का इंतजार कर रहा है? आखिर जिला प्रशासन उक्त होटल्स और रेस्टोरेंट पर कारवाई करने के लिए किसका इंतजार कर रहा है? ध्यान रहे कि दिल्ली में एक कोचिंग संस्थान के तलघर में संचालित होने और पानी भरने से कुछ स्टूडेंट की मौत हो गई थी। उस घटना से सबक लेकर इंदौर में कलेक्टर ने मुहिम चलाकर कई कोचिंग संस्थान सील कर दिए. आज बच्चे अपनी पढ़ाई और प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी करने के लिए परेशान हो रहे है. कोचिंग संस्थान तलघर से हटाकर चलाने के कारवाई ठीक है.
खड़ी हो सकती है गाड़ियां
दूसरी ओर शहर में पार्किंग की समस्या बहुत ज्यादा है, ज्यादातर दो पहिया और चार पहिया वाहन सड़कों पर ही खड़े हो रहे है. फिर चाहे वो कोई सी भी सड़क हो, कॉलोनी हो, मुख्य बाजार हो. हर जगह पार्किंग का व्यवसायिक उपयोग किया जा रहा है और किराए के रूम में मोटी रकम से कमाई की जा रही है. यदि जिला प्रशासन चाहे तो पार्किंग की जगह पर संचालित रेस्टोरेंट और होटल्स के किचन को बंद करवाकर गाड़ी खड़ी करने की समस्या का काफी हद तक समाधान कर सकता है.
कार्रवाई करेंगेः एडीएम
एडीएम रोशन राय ने इस मुद्दे पर कहा कि पार्किंग की जगह पर संचालित होने वाले रेस्टोरेंट और होटल्स के खिलाफ भी कार्रवाई करेंगे.