जबलपुर: लापता बेटी को तलाशने के लिए पुलिस द्वारा कोई कार्यवाही नहीं किये जाने को चुनौती देते हुए हाईकोर्ट में बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका दायर की गयी थी। हाईकोर्ट ने नाबालिग को चार दिनों में पेश करने के आदेश जारी किये थे। पुलिस ने आदेश का परिपालन करते हुए नाबालिग लडकी को जस्टिस प्रणय वर्मा तथा जस्टिस विवेक जैन की युगलपीठ के समक्ष पेश किया। नाबालिग ने बताया कि इंस्ट्राग्राम दोस्त उसे बहला-फुसला कर ले गया था और उसके साथ दुष्कर्म भी किया। युगलपीठ ने नाबालिग लडकी को परिजनों के सुपुर्द करने के आदेश जारी करते हुए याचिका का निराकरण कर दिया।
गौरतलब है कि जबलपुर के गढ़ा थानान्तर्गत शक्ति नगर निवासी महिला की तरफ से दायर की गयी याचिका में कहा गया था कि उसकी 14 वर्षीय नाबालिग बेटी 7 मई को अचानक लापता हो गयी थी। पतासाजी के बाद 9 मई को उसके गायब होने की रिपोर्ट पुलिस में दर्ज कराई गई थी। पुलिस ने अपहरण का प्रकरण दर्ज कर मामले को जांच में लिया था। इसके बाद लापता बेटी का उसके पास फोन आया था। इतना ही नहीं बेटी के इंस्टाग्राम आईडी से बेटी तथा एक युवक की फोटो अपलोड की गयी थी। इस संबंध में उन्होने संबंधित थाने तथा पुलिस अधीक्षक को सूचित किया था। इसके बावजूद भी पुलिस उसकी बेटी को तलाशने के लिए कोई कार्यवाही नहीं कर रही है।
याचिका में कहा गया था कि फोटो में दिखने वाले लडके ने उसकी बेटी को बंधक बना रहा है।
युवक से उसकी बेटी को जान का खतरा है। युगलपीठ ने सुनवाई के बाद लापता नाबालिग को चार दिन में पेश करने के आदेश जारी किये थे। पुलिस ने सोमवार को याचिका की सुनवाई के दौरान नाबालिग लडकी को युगलपीठ के समक्ष पेश किया। पुलिस ने बताया कि लडकी की दोस्ती इंस्टाग्राम में गोरखपुर उत्तर प्रदेश निवासी चंद्र ष्षेखर उम्र 19 साल से हुई थी। युवक उसे बहला-फुसलाकर दिल्ली ले गया था। युवक ने नाबालिग के साथ दुष्कर्म भी किया। आरोपी युवक को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ पास्को तथा दुष्कर्म सहित अन्य धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। याचिका की सुनवाई के बाद युगलपीठ ने उक्त आदेश जारी किये। याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता अक्षय झा तथा अधिवक्ता अतुल जसवानी ने पैरवी की।