जबलपुर: शासकीय दृष्टिबाधितार्थ उ. मा. विद्यालय भेड़ाघाट अंधमूक बाईपास का भवन जर्जर स्थित में है। विगत दिनों से हो रही बारिश के कारण स्कूल भवन में दुर्घटना होने की संभावना जताई जा सकती है। विदित है कि जिला प्रशासन द्वारा सख्त निर्देश दिए गए हैं कि जिले में किसी भी जर्जर भवन में स्कूल संचालित नहीं की जाएंगे। उसके बावजूद भी शासकीय दृष्टि बाधित विद्यालय में अभी भी दिव्यांगों की पढ़ाई उक्त जर्जर भवन में ही हो रही है।
जिसके चलते प्रशासन की नियमों की अवहेलना तो हो रही है, साथ ही बच्चों के साथ दुर्घटना होने की संभावना भी जताई जा रही है। हालांकि फरवरी- मार्च के महीने में हॉल का मेंटेनेंस किया गया था। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार मेंटनेंस के बावजूद भी इस बारिश में दीवारों से पानी रिस रहा है, जहां पर पहले विद्यार्थी भोजन किया करते थे।
नई बिल्डिंग का प्रस्ताव, अभी तक नहीं हुआ पास
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दृष्टिबाधितार्थ विद्यालय की जर्जर बिल्डिंग को देखते हुए यहां पर नई बिल्डिंग बनाने के लिए पीओआई द्वारा 10 करोड रुपए का प्रस्ताव भी कुछ माह पूर्व भेजा गया था,परंतु अभी तक बिल्डिंग का प्रस्ताव स्वीकृत नहीं हुआ है। जिसके चलते जर्जर भवन को नई बिल्डिंग की सौगात नहीं मिल पा रही है। वहीं अगर जल्द ही इस विद्यालय का स्वरूप नहीं बदला गया तो इसकी स्थिति और भी जर्जर हो सकती है।
किराए के भवन में शिफ्ट करने दिए थे निर्देश
शासकीय दृष्टिबाधितार्थ विद्यालय में पूर्व विद्यालय की कई शिकायत आने के कारण तत्कालीन प्राचार्य को हटाकर नए प्राचार्य की नियुक्ति की गई थी। जिसमें उन्हें निर्देश दिए गए थे कि वह विद्यालय की स्थिति को देखते हुए किराए के भवन में इसे शिफ्ट करें। लगभग 6 माह बीतने के बाद भी अभी तक किराए का भवन प्राचार्य नहीं ढूंढ पाए हैं और ना ही इसे शिफ्ट किया गया है।
इनका कहना है
जर्जर भवन को देखते हुए शासन से किराए के भवन के लिए स्वीकृति मिल चुकी है, जल्दी ही इसे दूसरी जगह पर शिफ्ट कर दिया जाएगा। जहां पर मेंटेनेंस किया गया था, वहां से बच्चों को हटा दिया गया है और अब गैलरी में उनके भोजन की व्यवस्था की गई है।
डॉ शिवेंद्र सिंह परिहार, प्राचार्य
