मुंबई, (वार्ता) महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत प्राप्त करने के बावजूद महायुति में मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार को लेकर गतिरोध जारी है। कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बुधवार को कहा कि इस मुद्दे पर भारतीय जनता पार्टी का केंद्रीय नेतृत्व जो भी निर्णय लेगा, वह उसे स्वीकार करने के लिए तैयार हैं।
मुख्यमंत्री पद पर सस्पेंस के बीच यहां एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए शिंदे ने स्पष्ट किया कि “मैं नाराज होने वाला नहीं हूं। मैं यहां समस्या का समाधान करने आया हूं। मैं अपने शरीर में खून की आखिरी बूंद तक लोगों के लिए काम करना जारी रखूंगा।”
उन्होंने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में महायुति की शानदार जीत के लिए लोगों को धन्यवाद दिया, जिससे पता चलता है कि लोगों का महायुति में विश्वास है।
उन्होंने कहा कि “चुनाव परिणाम आने के बाद यह पहली बार है जब हम बैठक कर रहे हैं। इस चुनाव में हमें अभूतपूर्व सफलता मिली है। लोगों ने पिछले कई वर्षों में ऐसा परिणाम नहीं दिया है।”
उन्होंने कहा कि पिछले ढाई वर्षों में महायुति सरकार ने शानदार काम किया है। हमने महाराष्ट्र के लोगों के लिए कई कल्याणकारी योजनाएं चलाई हैं।
शिंदे ने कहा कि “उन्होंने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से फोन पर बात की और उन्हें महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद के लिए शिवसेना के पूर्ण समर्थन देने का आश्वासन दिया।”
उन्होंने कहा, ”मोदी और शाह जो भी निर्णय लेंगे, शिवसेना उसका पालन करेगी। उन्होंने दोहराया कि मैंने मोदी और शाह से कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री उम्मीदवार पर फैसला लेना चाहिए और यह हमारे लिए अंतिम होगा।
उन्होंने कहा, “हम बालासाहेब ठाकरे और आनंद दिघे के विचारों को आगे बढ़ा रहे हैं। हमें शाह और मोदी दोनों ने कहा था कि हम आपके पीछे पहाड़ की तरह खड़े हैं।
कार्यवाहक मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि “मैंने करीब 80 से 90 रैलियों को संबोधित किया। मैंने एक साधारण कार्यकर्ता के रूप में भी काम किया। मुझे लगता है कि मुख्यमंत्री एक आम आदमी है इसलिए, लोगों के साथ संवाद करने में कोई बाधा नहीं थी।”
शिंदे ने कहा कि “मैंने लोकप्रियता प्राप्त करने के लिए काम नहीं किया। इसके बजाय, हमने वह देने की कोशिश की जो हम एक सरकार के रूप में दे सकते थे। मैं एक बार फिर कह सकता हूं कि केंद्र सरकार हमारे साथ पहाड़ की तरह खड़ी रही और ढाई वर्षों में हमें विकास के लिए केंद्र से लाखों करोड़ रुपये का फंड मिला।”