नयी दिल्ली (वार्ता) केन्द्रीय युवा मामले और खेल तथा श्रम और रोजगार मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया ने बुधवार को देशभर के सामुदायिक सेवा और राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) स्वयंसेवकों के साथ बातचीत की।
श्री मांडविया की वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए यह बातचीत अंतिम उपयोगकर्ताओं, यानी युवाओं को सूचित निर्णय लेने के लिए शामिल करने के अभियान का हिस्सा है। इससे पहले उन्होंने राष्ट्रीय युवा पुरस्कार विजेताओं, राष्ट्रीय सेवा योजना पुरस्कार विजेताओं और एनवाईके के स्वयंसेवकों से बातचीत की।
बातचीत की शुरुआत में खेल मंत्री ने बताया कि कल संसद में पेश किया गया केंद्रीय बजट 2024-25 युवा-केंद्रित है। उन्होंने कहा कि बजट में सरकार ने चार करोड़ से अधिक युवाओं को रोजगार और कौशल प्रदान करने के लिए दो लाख करोड़ रुपये खर्च करने की घोषणा की है। इस दौरान उन्होंने युवाओं में सामाजिक जिम्मेदारी की भावना को बढ़ावा देने में एनएसएस के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने देश भर में एनएसएस स्वयंसेवकों द्वारा की गई निस्वार्थ सेवा के लिए हार्दिक प्रशंसा व्यक्त की।
बातचीत के दौरान डॉ मांडविया ने माई भारत पोर्टल के बारे में फीडबैक लिया। एनएसएस स्वयंसेवकों ने अपनी गतिविधियों और विभिन्न जागरूकता अभियानों, सामुदायिक सेवाओं आदि में भागीदारी के बारे में अपने अनुभव साझा किए। एनएसएस स्वयंसेवकों ने इस बात पर प्रकाश डाला कि सीवी बिल्डर और अनुभवात्मक शिक्षण पाठ्यक्रम जैसे मॉड्यूल विशेष रूप से सहायक रहे हैं और उन्होंने केंद्रीय मंत्री से ऐसी सुविधाओं और पाठ्यक्रमों का और विस्तार करने का अनुरोध किया।
डॉ. मांडविया ने बताया कि यह प्लेटफॉर्म युवाओं की भागीदारी के लिए एक व्यापक केंद्र के रूप में कार्य करता है। उन्होंने कहा कि माई भारत युवाओं को राष्ट्र निर्माण और व्यक्तिगत विकास में सार्थक योगदान देने के लिए आवश्यक संसाधन और अवसर प्रदान करके उन्हें सशक्त बनाने के लिए बनाया गया है।
उन्होंने कहा, “हमारी सरकार विकसित भारत की दिशा में हमारे युवाओं की पूरी क्षमता का पोषण करने के लिए आवश्यक सहायता और संसाधन प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। मंत्रालय में बनाई जा रही हर नीति में युवाओं को निर्णय लेने के केंद्र में रखा गया है।”