6 करोड़ की एफडी, चार करोड़ से अधिक का बैंक बैलेंस
बिल्डर के करीबियोंं की मुश्किलें बढ़ी, चार दिन बाद ईडी ने किया खुलासा
जबलपुर। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की रेड और अब कार्रवाई के चार दिन बाद ईडी के अधिकृत बयान के बाद लग्जरी लाइफ जीने के शौकीन बिल्डर रोहित तिवारी और उसके करीबियों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। इसके साथ ही काली कमाई से जुटाई गई अकूल संपत्ति का भी खुलासा हो गया है।
दरअसल प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), भोपाल क्षेत्रीय कार्यालय ने सौरभ शर्मा और अन्य के मामले में मध्य प्रदेश के जबलपुर, भोपाल, ग्वालियर जिलों में स्थित विभिन्न परिसरों में धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के प्रावधानों के तहत 27 दिसम्बर को एक साथ छापेमार कार्रवाई की थी जिसमें जबलपुर निवासी बिल्डर रोहित तिवारी, सौरभ शर्मा, चेतन सिंह गौर, शरद जायसवाल सहित प्रमुख व्यक्तियों के आवासीय परिसर शामिल थे, जो अपराध की आय (पीओसी) के संदिग्ध लाभार्थी थे या कथित तौर पर उसी के शोधन में सहायक थे। जांच से पता चला कि सौरभ शर्मा ने अपने परिवार के सदस्यों और संबंधित फर्मों, कंपनियों के नाम पर करोड़ों रुपये की अनुपातहीन संपत्ति अर्जित की है। पी एम एल ए के तहत की गई जांच के दौरान बैंक खातों और संपत्तियों का ब्योरा जुटाया गया। उनके विश्लेषण से पता चला कि सौरभ शर्मा ने अपने परिवार के सदस्यों, दोस्तों, कंपनियों के नाम पर कई संपत्तियां खरीदी हैं, जिनमें उनके करीबी सहयोगी निदेशक थे। जबलपुर समेत आठ परिसरों में की गई तलाशी कार्यवाही के दौरान, सौरभ शर्मा के सहयोगी चेतन सिंह गौर के नाम पर 6 करोड़ रुपये से अधिक की सावधि जमा (एफडी) के रूप में चल संपत्ति की पहचान की गई और सौरभ शर्मा के परिवार के सदस्यों और कंपनियों के नाम पर 4 करोड़ रुपये से अधिक के बैंक बैलेंस पाए गए। इसके अलावा, सौरभ शर्मा की विभिन्न कंपनियों और परिवार के सदस्यों के नाम पर 23 करोड़ रुपये से अधिक की अचल संपत्ति, संपत्तियों से संबंधित दस्तावेज अन्य आपत्तिजनक दस्तावेजों के साथ पाए गए। तलाशी कार्रवाई से पता चला कि ऐसी संपत्तियां सौरभ शर्मा द्वारा कथित तौर पर भ्रष्ट आचरण के माध्यम से प्राप्त अवैध धन से खरीदी, अर्जित की गई थीं, जब वह परिवहन विभाग में कांस्टेबल के रूप में काम कर रहा था। इससे पहले, एक अलग कार्रवाई में, आयकर विभाग, भोपाल द्वारा सौरभ शर्मा के करीबी सहयोगी चेतन सिंह गौड़ के वाहन से 52 किलोग्राम वजन का सोना और 11 करोड़ रुपये नकद जब्त किए गए थे। आगे की जांच जारी है।