दिनांक 29 अगस्त 24 को ऑटो चालक कैलाश पासी द्वारा नेशनल हाईवे 43 पर सड़क दुर्घटना में घायल बाइक चालकों की मदद करते हुए अपने ऑटो में बिठाकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कोतमा ले जाने एवं अपने ऑटो में पीछे *40 पर चलोगे तो, अनूपपुर में मिलोगे*80 पर चलोगे,तो इलाहाबाद में।*इस प्रकार का स्लोगन लिख कर अनोखे तरीके से अन्य वाहन चालकों को गति सीमा का ध्यान रखते हुए, वाहन चलाने का संदेश देने वाले ऑटो चालक की खबर प्रकाशित की गई थी।
जो वायरल होते हुए पुलिस अधीक्षक अनूपपुर के संज्ञान में आई।
इस प्रकार घायलों की मदद करने वाले तथा यातायात नियमों का पालन करने का संदेश देने वाले ऐसे नेक व्यक्ति को सम्मानित करने हेतु पुलिस अधीक्षक अनूपपुर मोती उर रहमान द्वारा आज अपने कार्यालय में बुलाया गया तथा उन्हें प्रशस्ति पत्र, साल, श्रीफल भेट कर सम्मानित किया ।
उनसे वार्तालाप करते हुए घर परिवार का हाल-चाल जाना, कब से ऑटो चला रहे हैं और लोगों की मदद करने की प्रेरणा आपको कहां से मिली इन सभी बिंदुओं पर चर्चा की
जिसमें कैलाश पासी द्वारा बताया गया कि, मैं अनूपपुर के ग्राम परसवार का रहने वाला हूं, 30 साल से अनूपपुर में ऑटो चला रहा हूं ।सड़क दुर्घटना में जो भी मुझे रोड पर घायल अवस्था मिलता है, उसे में नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र तक पहुंचता हूं। जिसका मैं घायल से व्यक्ति से किराया भी नहीं लेता हू। ऐसा करके मुझे खुशी मिलती है ।
इस पर पुलिस अधीक्षक ने कहा कि निश्चित ही आपका कार्य सभी के लिए अनुकरणीय है तथा आप हम सभी के लिए प्रेरणा स्रोत हैं। प्रत्येक वर्ष लाखों लोगों की मृत्यु सड़क दुर्घटना में तत्काल उपचार न मिलने के कारण हो जाती है। क्योंकि अक्सर लोग सड़क दुर्घटना में घायल व्यक्ति की मदद करने से बचते हैं, जिससे वह समय रहते अस्पताल तक नहीं पहुंच पाता, परिणाम स्वरूप घायल व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है। आपकी तरह प्रत्येक व्यक्ति अपने छोटे-छोटे प्रयासों से घायलों की मदद करें ,तो निश्चित ही सड़क दुर्घटना में मृत्यु की संख्या कम हो जाएगी ,आपका यह कार्य सभी को यह संदेश देता है कि यदि हम दूसरों की मदद करने की इच्छा शक्ति रखते हैं ,तो संसाधनों की कमी उसमें बाधा नहीं बनती ,हमारी सोच बड़ी होनी चाहिए।
ऑटो के पीछे आपका ऐसा स्लोगन जिसके माध्यम से आप वाहन चालकों को निर्धारित गति में वाहन चलाने का संदेश दे रहे हैं, यह भी प्रशंसनीय हैं।