29 लाख में सीढिय़ाँ बनाने का काम देकर एडवांस नहीं दिया,ठेकेदार ने रोका काम
नवभारत न्यूज
ओंकारेश्वर। पैसा लेकर विशेष दर्शन कराने के लिए मंदिर प्रशासन छटपटा रहा है। रोप-वे से गौ माता मंदिर तक स्टील की मजबूत सीढिय़ां दो महीने में केवल 20 ही बन पाई हैं। वे भी मौके पर नहीं पहुंची। बड़े त्यौहार माथे पर हैं। उस वक्त कैसे लाखों लोगों को दर्शन कराएंगे?
बताते हैं कि गोमती इंटरप्राइजेज उंज्जैन को 28 लाख 60 हजार 350 में स्टील आयरन की मजबूत सिडिया और ब्रिज बनाने का ठेका दिया गया था। काम बंद पड़ा हुआ है। यहां आने वाले भक्तों और नागरिकों ने मांग की है कि ओंकारेश्वर मंदिर में विशेष दर्शन की व्यवस्था ठीक से न होने के कारण भक्तों द्वारा विशेष दर्शन शुल्क देने के बाद भी धक्का मुक्की से मंदिर गर्भग्राम में प्रवेश करना पड़ता है।
वाआईपी गेट पर भीड़
ओंकारेश्वर मंदिर निकासी के पास जो वीआईपी गेट वर्तमान चल रहा है। उस पर भयंकर भीड़ लगती है। धक्कामुक्की होती है। आवागमन में भी अवरुद्धता आती है। झूला पुल और पुराने पुल से आने वाले लोगों का रास्ता भी यहीं से है। मंदिर क ी निकासी के सामने शांति से लोग आवागमन कर सकेंगे।
एडवांस न देने से रुकी प्रोग्रेस
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार काम के लिए ट्रस्ट द्वारा प्रस्ताव भी पारित किया गया है। तीन कोटेशन भी बुलाए गए थे। उसमें सबसे कम कोटेशन गोमती इंटरप्राइजेज उज्जैन का था। जिस काम दिया गया है। किसी प्रकार का कोई एडवांस भी नहीं दिया। कंपनी द्वारा 15 लख रुपए का एडवांस की मांग भी की गई है।
ममलेश्वर में भी सुधारें व्यवस्था
ममलेश्वर मंदिर में दर्शन कराने को लेकर तो प्रशासन हमेशा सौतेला व्यवहार करता है। यहां पंडितों की मर्जी पर आस्थावानों को छोड़ दिया जाता है। लोगों की संख्या यहां भी बढऩे लगी है। कई लोग तो ओंकारेश्वर में दर्शन न हो पाने की स्थिति में ममलेश्वर के दर्शन करके ही लौट जाते हैं। यह खंडवा जिलेे के प्रशासन और मंदिर प्रशासकों का दुर्भाग्य ही कहा जाएगा। देशभर में खंडवा की व्यवस्थाओं की लोग बदनामी भी करते हैं।