भोपाल, 11 जुलाई (वार्ता) मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि हाई स्कूल और हायर सेकेंडरी कक्षाओं में कृषि, हॉर्टिकल्चर, मत्स्य पालन, डेयरी, पशुपालन आदि विषयों की पढ़ाई आरंभ की जाए। प्रदेश की शालाओं में अध्यनरत विद्यार्थी अधिकांशत: खेती बाड़ी की पृष्ठभूमि वाले परिवारों से आते हैं।
डॉ यादव ने मंत्रालय में सी.एम. राइज स्कूलों के संचालन की बैठक में यह निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन विषयों पर पढ़ाई आरंभ करने से विद्यार्थियों का शालाओं से अधिक जुड़ाव होगा और अध्ययन-अध्यापन परिवार के लिए अधिक उपयोगी बन सकेगा। सी.एम. राइज स्कूलों में इन विषयों की पढ़ाई प्राथमिकता पर आरंभ की जाए। उन्होंने कहा कि इन कक्षाओं में संकाय व्यवस्था के स्थान पर विद्यार्थियों को अपनी रूचि व प्राथमिकता के आधार पर विषय चुनने की व्यवस्था भी की जाए। यह व्यवस्था उच्च शिक्षा में लागू हो चुकी है, शाला स्तर पर यह व्यवस्था क्रियान्वित करने के लिए शिक्षाविदो, शिक्षको, स्वयंसेवी संस्था तथा विषय-विशेषज्ञों की टास्क फोर्स गठित की जाए। जनजातीय कार्य मंत्री कुंवर विजय शाह, स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह, मुख्य सचिव श्रीमती वीरा राणा सहित अधिकारी उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जनजातीय क्षेत्रों तथा ग्रामीण अंचल में प्राथमिकता के आधार पर सी.एम. राइज स्कूल आरंभ किए जाएं तथा इन शालाओं में शिक्षकों व स्टाफ के लिए आवास की व्यवस्था आवश्यक रूप से सुनिश्चित की जाए। इस संबंध में भारत सरकार से भी सहायता प्राप्त करने की दिशा में प्रयास करना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि शिक्षा को रोजगार से जोड़ने के उद्देश्य से प्रत्येक विकासखंड में एक आई.टी.आई. स्थापित करने की दिशा में प्रयास हों, जिन विकासखंडों में आई.टी.आई. नहीं है, वहां निजी क्षेत्र की पहल से सुविधा उपलब्ध कराने की रणनीति बनाई जाए। आगामी इण्डस्ट्रियल समिट में भी इस दिशा में इच्छुक निवेशकों से चर्चा की जाए।
डॉ. यादव ने कहा कि सी.एम. राइज स्कूलों की परिवहन व्यवस्था में ई-व्हीकल्स का अधिक से अधिक उपयोग किया जाए। नगरीयनिकायों में बने सी.एम. राइज स्कूलों के विद्यार्थियों के आवागमन के लिए नगरीय निकाय की नगर वाहन सेवा के अंतर्गत चल रहे वाहनों का भी उपयोग किया जाए। विद्यार्थियों की नियमित उपस्थिति और सुविधाजनक विद्यालय आवागमन के लिए वाहनों के रखरखाव को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाए। उन्होंने कहा कि नवीन विद्यालयों के भवन निर्माण के लिए भूमि के चिन्हांकन का कार्य परस्पर विभागीय समन्वय से समय-सीमा में पूर्ण किया जाए। जिन प्रकरणों में विलंब हो रहा है, उसका निराकरण राज्य स्तर से कराया जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि शालाओं के आसपास कोई अतिक्रमण न हो।
जानकारी दी गई कि प्रथम चरण में बनने वाले 274 सी.एम. राइज स्कूलों में 21 विद्यालयों का भवन निर्माण अगस्त माह तक पूर्ण होगा। एक विद्यालय का कार्य पूर्ण हो चुका है और 249 में कार्य प्रगति पर है। बैठक में नि:शुल्क परिवहन सेवा, आवश्यक सामग्री की आपूर्ति, अधो-संरचना विकास, शैक्षणिक गतिविधियों, व्यावसायिक शिक्षा आदि के सबंध में प्रस्तुतिकरण दिया गया।