चित्रकूट के समग्र विकास का प्लान समेकित रूप से क्रियांवित हो:मुख्यमंत्री

प्राकृतिक सौंदर्य और मूल स्वरूप कायम रखते हुए किये जायेंगे विकास कार्य

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने समग्र विकास के

प्रगतिरत एवं प्रस्तावित कार्यों की समीक्षा की

सतना/मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि चित्रकूट के समग्र विकास का प्लान समेकित रूप से बने और सबके सहयोग से क्रियान्वित किया जाये। उन्होंने कहा कि चित्रकूट में अनेक सामाजिक संस्थायें और विभिन्न संस्थाओं द्वारा समाज सेवा तथा विकास के कार्य किये जा रहे हैं। धार्मिक स्थल में होने वाले मेले और अवसरों पर तीर्थ यात्रियों तथा पर्यटकों की सुविधाओं के लिए इन संस्थाओं के कार्यों से भी जोंडे।

मुख्यमंत्री डॉ. यादव मंगलवार को चित्रकूट में चित्रकूट के समग्र विकास के प्रगतिरत एवं प्रस्तावित कार्यों की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर नगरीय विकास एवं आवास राज्यमंत्री श्रीमती प्रतिमा बागरी, सांसद श्री गणेष सिंह, विधायक नागौद नागेन्द्र सिंह, विधायक चित्रकूट सुरेन्द्र सिंह गहरवार, महापौर योगेश ताम्रकार, जिला पंचायत अध्यक्ष रामखेलावन कोल, नगर पंचयत अध्यक्ष साधना पटेल, जानकी महल के महंत सीताषरण जी महाराज, समाज सेवी सुरेश सोनी, कुलगुरू चित्रकूट ग्रामोदय विवि प्रो. भरत मिश्रा, सदगुरू सेवा संघ के ट्रस्टी डॉ. बीके जैन, डीआरआई के प्रधान सचिव अतुल जैन, कमिश्नर रीवा बीएस जामोद, आईजी साकेत पाण्डेय, कलेक्टर अनुराग वर्मा, पुलिस अधीक्षक आशुतोष गुप्ता, सीईओ जिला पंचायत संजना जैन, आयुक्त नगर निगम षेर सिंह मीना, अपर कलेक्टर और चित्रकूट विकास प्राधिकरण के सीईओ स्वप्निल वानखडे सहित विभाग प्रमुख अधिकारी उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि चित्रकूट का समग्र विकास हमारी प्राथमिकता है। सबकी एक ही भावना है कि चित्रकूट का बेहतर विकास हो और आध्यात्मिक वैभव के साथ चित्रकूट का मूल स्वरूप कायम रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि मां मंदाकिनी की स्वच्छता और निर्मलता के साथ-साथ वाटर रिचार्ज का भी अभियान स्वयंसेवी संस्थाओं एवं जनभागीदारी से चलाया जाना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे आश्रम, संस्थायें मिलकर भूगर्भ के जल संभरण और संरक्षण का अभियान चलाये। चित्रकूट में चल रहे विभिन्न प्रकल्पों को और कैसे मजबूत बनायें ताकि हमारा समाज और क्षेत्र स्वावलम्बी बन सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि चित्रकूट विष्वविद्यालय और समाजसेवी संस्थायें स्वावलम्बी समाज बनाने की दिषा में काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि चित्रकूट की हमारी पुरातन संस्कृति और परंपरागत पहचान को कायम रखते हुए कई विषयों को जोडकर विकास के कार्य होने चाहिए। गौषालायें, गौपालन, स्वास्थ्य, शिक्षा के क्षेत्र में सबके सहयोग से कार्य हो। चित्रकूट के अमावस्या मेला और दीपावली मेले में भीड प्रबंधन के लिए रोपवे के विकल्प की भी संभावनायें तलाशी जा सकती है। मेले में वाहनों की पार्किंग के स्थानों के लिए कन्ट्रोल रूम बनाये। उन्होंने कहा कि सडकों का चौडीकरण और मजबूतीकरण का कार्य गुणवत्ता के साथ समय-सीमा में पूर्ण हो। मोहकमगढ से पीली कोठी तक बनने वाली सडक का कार्य मुख्यमंत्री ने दोनों सिरों से षुरू करने के निर्देष दिये।

नगरीय विकास एवं आवास राज्यमंत्री श्रीमती प्रतिमा बागरी ने कहा कि कामदगिरी परिक्रमा मार्ग में सुविधाओं के विकास की जरूरत है। साथ ही परिक्रमा में साफ-सफाई के उचित प्रबंध भी होने चाहिए। दान दाताओं के लिए भी सुनियोजित स्थान तय करना आवष्यक है।

समाजसेवी सुरेश सोनी ने कहा कि चित्रकूट पावन तीर्थ का महत्व कामदगिरी और मां मंदाकिनी से है। अयोध्या सहित तीर्थ स्थलों के विकास से लोकप्रियता बढने के साथ यात्रियों का आवागमन कई गुना बढा है। चित्रकूट का विकास प्लान आगामी 15-20 साल की परिस्थितियों के अनुसार ही बनाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि चित्रकूट के प्रत्येक मठ, मंदिर, विद्यालय, सामाजिक संस्थायें जन प्रबोधन का कार्य भी करें। सांसद श्री गणेश सिंह ने कहा कि भगवान राम की तपोभूमि चित्रकूट में विकास की संभावनायें हैं मंदिर और तीर्थ स्थलों की प्राकृतिक सुंदरता बनी रहे। साथ ही चौरासी कोष की परिक्रमा के महत्वपूर्ण स्थल भी चित्रकूट के समग्र विकास में षामिल कर जनसुविधायें विकसित की जाये। विधायक सुरेन्द्र सिंह गहरवार ने कहा कि चित्रकूट में षासकीय जमीनों से अतिक्रमण हटाकर विकास कार्यों को मूर्तरूप दिया जाये। चित्रकूट के विकास कार्यों में गुणवत्ता के साथ समय-सीमा में पूर्ण करना आवष्यक है। चित्रकूट का क्षेत्र वृक्षों से आच्छादित हो यहां जलवायु के अनुरूप वृक्षों का रोपण किया जाये। डीआरआई के संगठन सचिव अभय महाजन ने कहा कि चित्रकूट का मूल स्वरूप बना रहे। इसी आधार पर विकास के कार्य होने चाहिए। चित्रकूट ग्रामोदय विष्वविद्यालय का कार्य क्षेत्र विस्तार कर और भी जिले षामिल किये जाये। श्री महाजन ने मुख्यमंत्री को बताया कि प्रत्येक रामनवमी को जनभागीदारी और जन सहयोग से चित्रकूट का गौरव दिवस मनाया जाता है। इस अवसर पर चित्रकूट नगर में 5 लाख से अधिक दीपक नागरिकों द्वारा प्रज्जवलित किये जाते हैं। उन्होंने आगामी चित्रकूट के गौरव दिवस पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव को आमंत्रित भी किया।

कुलगुरू चित्रकूट ग्रामोदय विष्वविद्यालय प्रो. भरत मिश्रा ने कहा कि यहां की संस्थाओं के साथ विष्वविद्यालय ग्रामीण क्षेत्रों में ज्ञान और स्वालम्बन की अलख जगा रहा है। विष्वविद्यालय के पास उपलब्ध जमीन का उपयोग दीपावली मेला जैसे अवसरों पर पार्किंग के लिए किया जा सकता है। स्वास्थ्य के क्षेत्र में विष्वविद्यालय में बीएएमएस पाठ्यक्रम भी खोला जायेगा। समीक्षा के दौरान विधायक नागौद नागेन्द्र सिंह ने कहा कि चित्रकूट के समग्र विकास में सभी विभागों की भागीदारी होनी चाहिए और चित्रकूट का स्वरूप धार्मिक नगरी की तरह दिखना चाहिए। इस अवसर पर महापौर योगेष ताम्रकार, पूर्व प्राचार्य संस्कृत विद्यालय श्रीधर त्रिपाठी, गायत्री षक्ति पीठ के आचार्य डॉ. रामनारायण त्रिपाठी, जानकी महल के महंत श्री सीताषरण जी महाराज, रमाकांत त्रिपाठी, सदगुरू सेवा संघ के ट्रस्ट के डॉ. बीके जैन, डीआरआई के उपाध्यक्ष निखिल प्रभाकर मण्डले, बसंत पण्डित ने भी महत्वपूर्ण सुझाव दिये।

चित्रकूट के समग्र विकास के प्रगतिरत एवं प्रस्तावित कार्यों की समीक्षा बैठक में नगरीय विकास एवं आवास विभाग के अपर आयुक्त केएल मीणा ने मध्यप्रदेष अर्बन डेवलपमेंट कार्पोरेषन द्वारा तैयार किये गये चित्रकूट के समग्र विकास के प्लान का प्रस्तुतिकरण किया।

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