एरियस के नाम पर मांगी थी रिश्वत
कटनी। जिले के बड़वारा जनपद कार्यालय में पदस्थ लिपिक प्रभारी लेखापाल और सचिव को जबलपुर लोकायुक्त की नौ सदस्यीय टीम ने ₹6000 की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। जानकारी के अनुसार ढीमरखेड़ा जनपद क्षेत्र अंतर्गत आने वाले पिपरिया शुक्ला ग्राम पंचायत में पदस्थ सचिव जितेंद्र सिंह बघेल के खिलाफ 2018 में निलंबन की कार्यवाही की गई थी, और वर्ष 2023 में बहाली की कार्यवाही की गई। इस बीच 5 वर्षों तक का करीब 7 लाख 50 हजार रुपये एरियस बकाया था। एरियस दिलाने के बदले बाबू ने 7 हजार की रिश्वत मांगी थी। फरियादी जितेंद्र सिंह बघेल ने बताया कि इस कार्य के लिए पूर्व में भी करीब दस हजार रुपए घूस के रूप में ले लिए गए, लेकिन अब तक मेरा काम नहीं किया गया। इसके बाद में थक हार कर बाबू संजय चतुर्वेदी की जबलपुर लोकायुक्त में मेरे द्वारा शिकायत की गई थी। आज ₹6000 की घूस लेते हुए लोकायुक्त की टीम ने बाबू संजय कुमार चतुर्वेदी और उनके सहयोगी सचिव आशीष कुमार दुबे को पड़ लिया है। वही इस कार्रवाई के बाद पूरे कार्यालय में सन्नाटा पसरा हुआ है।
इनका कहना है
लुर्मी ग्राम निवासी जितेंद्र सिंह बघेल पिता केशव प्रसाद के द्वारा शिकायत प्राप्त हुई थी कि बड़वारा जनपद कार्यालय में पदस्थ लिपिक प्रभारी लेखपाल एरियस के नाम पर रिश्वत की मांग कर रहा है। शिकायत के बाद आज बड़वारा जनपद कार्यालय में ₹6000 की रिश्वत लेते हुए प्रभारी लेखपाल संजय कुमार चतुर्वेदी और कार्यालय में पदस्थ सचिव आशीष दुबे को पकड़ा है दोनों के विरुद्ध कार्यवाही की जा रही है।, कार्यवाही में इनकी रही अहम भूमिका निरीक्षक रेखा प्रजापति,निरीक्षक नरेश बैगा एवं अन्य 5 सदस्य
डी एस पी दिलीप झरवडे लोकायुक्त जबलपुर