29 मार्च को सतीश ने विनय शर्मा को विश्वास में लेकर कहा कि टेंडर उसके नाम से भरा जाएगा, लेकिन अगले दिन पता चला कि टेंडर किसी अन्य कारोबारी आशीष के नाम से भर दिया गया। जब विनय शर्मा सतीश शिवहरे से मिलने उसके घर पहुंचे, तो सतीश के पिता तुलसीराम ने पैसे लौटाने का आश्वासन दिया। लेकिन 31 मार्च को सतीश ने मिलने के लिए बुलाया और फिर गायब हो गया। पूर्व नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस नेता डॉ. गोविंद सिंह ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी नेता जबरन शराब ठेकों पर कब्जा करना चाहते हैं और सतीश शिवहरे को डराने की कोशिश कर रहे हैं।
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