नयी दिल्ली , (वार्ता) केंद्र सरकार ने राजस्थान और ओडिशा में ग्रामीण स्थानीय निकायों के लिए 15 वें वित्त आयोग की सिफारिशों के अनुसार वित्तीय वर्ष 2024-25 की अवधि की दूसरी किस्त और पहली किस्त की बकाया राशि के लिए कुल 1069 करोड़ रुपये अनुदान जारी किया है।
पंचायत राज मंत्रालय की बुधवार को जारी विज्ञप्ति के अनुसार राजस्थान के लिए, वित्तीय वर्ष 2024-25 के अनटाइड (अबद्ध) अनुदान की दूसरी किस्त 560.63 करोड़ रुपये की राशि के साथ-साथ वित्तीय वर्ष 2024-25 के अनटाइड अनुदान की पहली किस्त की रोकी गई राशि 53.4123 करोड़ रुपये जारी की गई है। ये धनराशि राज्य की 10105 पात्र ग्राम पंचायतों, 315 पात्र ब्लॉक पंचायतों और 20 पात्र जिला पंचायतों के लिए है।
इसी तरह ओडिशा में ग्रामीण स्थानीय निकायों के लिए, वित्तीय वर्ष 2024-25 के अनटाइड अनुदान की दूसरी किस्त 370.20 करोड़ रुपये की राशि के साथ-साथ वित्तीय वर्ष 2024-25 के अनटाइड अनुदान की पहली किस्त की रोकी गई राशि 84.5086 करोड़ रुपये जारी की गई है। ये धनराशि राज्य की सभी पात्र 6794 ग्राम पंचायतों, 314 ब्लॉक पंचायतों और 30 जिला पंचायतों के लिए है।
अबद्ध अनुदान का उपयोग पंचायती राज संस्थाओं (पीआरआई)/ग्रामीण स्थानीय निकायों (आरएलबी) द्वारा वेतन और अन्य स्थापना लागतों को छोड़कर संविधान की ग्यारहवीं अनुसूची में निहित उनतीस (29) विषयों के तहत स्थान-विशिष्ट आवश्यकताओं के लिए किया जाएगा। बंधे हुए अनुदान का उपयोग बुनियादी सेवाओं के लिए किया जा सकता है जिनमें स्वच्छता और खुले में शौच से मुक्ति की स्थिति को बनाए रखना, और इसमें घरेलू कचरे का प्रबंधन और उपचार, और विशेष रूप से मानव मल और मल प्रबंधन और पेयजल की आपूर्ति, वर्षा जल संचयन और जल पुनर्चक्रण शामिल होना चाहिए।