चंडीगढ़, 12 मार्च (वार्ता) लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा)-जननायक पार्टी (जजपा) को हरियाणा की दस में से एक भी सीट न देने के रुख के कारण पाँच साल पुराने गठबंधन में दरार पड़ गई है।
सूत्रों के अनुसार जजपा हिसार और भिवानी-महेंद्रगढ़ सीटें मांग रही थी, लेकिन भाजपा एक भी सीट देने को तैयार न थी। उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने दो दिन पहले ही संकेत दिया था कि यदि बात नहीं बनी तो पार्टी अकेले लड़ेगी और तब प्रदेश की दसों सीटों पर लड़ेगी। दो दिन पहले ही हिसार के भाजपा सांसद बृजेन्द्र सिंह के कांग्रेस में जाने के बाद खासकर हिसार सीट को जजपा ने मुद्दा बनाया था क्योंकि इस सीट से दुष्यंत सांसद रह चुके हैं।
उधर भाजपा सूत्रों एवं टीवी खबरों के अनुसार मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर इस्तीफा दे सकते हैं। पार्टी ने केन्द्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा और महासचिव तरुण चुघ को पर्यवेक्षक के रूप में चंडीगढ़ भेजा है। पार्टी सूत्रों के अनुसार श्री खट्टर के स्थान पर कोई और मुख्यमंत्री बनेगा और श्री खट्टर लोकसभा चुनाव लड़ सकते हैं। यह मध्य प्रदेश और राजस्थान की तर्ज पर नए चेहरे को लाने की कवायद का हिस्सा भी हो सकता है।
इस बीच, कांग्रेस संसद दीपेन्द्र सिंह हुड्डा ने सोशल मीडिया साइट ‘एक्स’ पर अपना तीन महीने पुराना एक विडिओ साझा करते हुए लिखा है कि उन्होंने पहले ही बताया दिया था कि भाजपा-जजपा में समझौता तोड़ने का अघोषित समझौता हो गया है और इस बार भाजपा के इशारे पर जजपा और इनेलो वाले कांग्रेस की वोट में सेंध लगाने अलग से फिर आएंगे।