श्रीनगर, 16 जुलाई (वार्ता) केन्द्रशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के जम्मू क्षेत्र में बढ़ते हमलों के बीच पूर्व मुख्यमंत्री एवं पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने मंगलवार को पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) आर आर स्वैन को तत्काल बर्खास्त करने की मांग की।
सुश्री मुफ्ती ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि जम्मू क्षेत्र में सैनिकों की हत्या पर कोई जवाबदेही नहीं है।
पीडीपी अध्यक्ष श्रीनगर में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा“कोई जवाबदेही नहीं है। अब तक तो पुलिस महानिदेशक को बर्खास्त कर दिया जाना चाहिये था। पिछले 32 महीनों में लगभग 50 सैनिकों की जान चली गयी हैं।”
उन्होंने कहा कि हाल के दिनों में जम्मू में सुरक्षा बलों पर कई हमले हुये हैं और नवीनतम हमला सोमवार शाम को हुआ, जिसमें जम्मू में डोडा जिले के डेसा जंगलों में एक सेना अधिकारी सहित चार सैन्यकर्मी मारे गये।
सुश्री मुफ्ती ने पुलिस महानिदेशक श्री स्वैन पर गंभीर आरोप लगाते हुये कहा कि वह ‘चीजों को राजनीतिक रूप से ठीक करने’ में ज्यादा व्यस्त रहते हैं। उन्होंने श्री स्वैन पर ‘कश्मीरियों के साथ पाकिस्तानी जैसा व्यवहार करने’ का आरोप लगाते हुये कहा, “वर्तमान महानिदेशक स्थिति को राजनीतिक रूप से ठीक करने में अधिक व्यस्त हैं। उनका काम है कि कैसे पीडीपी के लोगों को तोड़ा और पत्रकारों को परेशान किया जाये… पासपोर्ट और सत्यापन को हथियार बनाया गया है।’ वे लोगों पर यूएपीए (गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम) लगाने के नये-नये तरीके ढूंढ रहे हैं… हमें यहां फिक्सर की जरूरत नहीं है, हमें एक ऐसे डीजीपी की जरूरत है जाो अन्य राज्यों के डीजीपी रहे हों और वह स्थिति से निपटने में निपुण हों। जिस तरह से अब काम हो रहा है, उस तरह किसी ने काम नहीं किया है।”
डीजीपी के खिलाफ यह हमला ऐसे समय आया है जब एक दिन पहले ही डीजीपी स्वैन ने कश्मीरी नागरिक समाज में पाकिस्तान की ‘सफल’ घुसपैठ के लिये क्षेत्रीय दलों को दोषी ठहराया था। इससे पहले पुलिस महानिदेशक श्री स्वैन ने सोमवार को कहा कि घाटी में तथाकथित मुख्यधारा या क्षेत्रीय राजनीति की बदौलत पाकिस्तान ने नागरिक समाज के सभी महत्वपूर्ण पहलुओं में सफलतापूर्वक घुसपैठ की है।
पूर्व मुख्यमंत्री मुफ्ती ने श्री स्वैन पर निशाना साधते हुये कहा कि घुसपैठ रोकना उनका या प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला का काम नहीं है। उन्होंने कहा, “पाकिस्तान से जबकि घुसपैठ हो रही है, डीजीपी क्या कर रहे हैं। क्या घुसपैठ रोकना मेरा काम है, या उमर अब्दुल्ला का काम है, सीमा पर कौन है, स्थिति से किसे निपटना है।”
पीडीपी अध्यक्ष ने कहा, “कश्मीर में सेना के जवान अपनी ड्यूटी के लिये आते हैं और ताबूत में बंद होकर जाते हैं। इसके लिये कौन जिम्मेदार है। ”
उन्होंने आरोप लगाया कि सभी कश्मीरियों, विशेष रूप से बहुसंख्यक समुदाय को डीजीपी ने अलग-थलग कर दिया है।
सुश्री मुफ्ती ने कहा कि पिछले छह साल से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) जम्मू-कश्मीर पर शासन कर रही है और जब इंजीनियर रशीद ने बारामूला लोकसभा सीट से विजय हासिल की, तो यह उनके मुंह पर करारा तमाचा था।
उन्होंने कहा, “ उत्तरी कश्मीर में लोगों ने एक ऐसी आवाज़ को पसंद किया जो आत्मनिर्णय और जनमत संग्रह के बारे में बोलती हो। राष्ट्रवादी ताकतें निर्वाचित नहीं हुईं। वे अपनी मियां छुपाना चाहते हैं।’”
पीडीपी अध्यक्ष ने ने गृह मंत्री और रक्षा मंत्री से जम्मू-कश्मीर में आतंकवादी हमलों और हताहतों की संख्या पर ध्यान देने और जवाबदेही तय करने की अपील की। उन्होंने दावा किया, “मौजूदा डीजीपी के कार्यभार संभालने के बाद से प्रदेश में सबसे ज्यादा मौतें हुई हैं।”