एनसीएल प्रबंधन ब्लॉक-बी का कारनामा आया सामने
सिंगरौली : एनसीएल परियोजना ब्लॉक-बी के प्रबंधन एक चौकाने वाला काला कारनामा सामने आया है। स्कूल बस को एनसीएल कर्मियों के सिफ्ट ड्यूटी में उपयोग कर रहा । इसका खुलासा एनसीएल के संगठनों में पुलिस के सौंपे गये माध्यम से किया है।दरअसल सूत्रों के मुताबिक एनसीएल परियोजना ब्लॉक-बी परियोजना के स्कूली बच्चों को क्राइस ज्योति मोरवा एवं केन्द्रीय विद्यालय सिंगरौली में लाने-ले जाने के लिए दो बसों के परमिट लिया गया है। जहां सुबह स्कूली बच्चों को विद्यालय एवं घर लाने एवं ले जाने के बाद उक्त बसे एनसीएल के कर्मियों को खदान में अपडाउन का काम कर रही है।
सवाल उठ रहा है कि जब बस का परमिट केवल स्कूल के लिए है फिर खदानों में क्यो बेजा जा रहा है। एनसीएल परियोजना ब्लॉक -बी के महाप्रबंधक सवालों में घिरते नजर आ रहे हैं। बीएमएस, एटक एवं आरसीएसएस ब्लॉक-बी के अध्यक्ष सचिव ने इस पर घोर आपत्ति जता चुके थे। अब यह मामला काफी तूल पकड़ता जा रहा है। उक्त संगठनों के पदाधिकारियों का कहना है कि यदि परमिट स्कूल के ली गई है।
फिर खदानों में उक्त बसों को सिफ्ट ड्यूटी में भेजना आरटीओ के दिशा-निर्देशों का खुला उलंघन है। इस पर एनसीएल प्रबंधन के विरूद्ध सख्ती के साथ कार्रवाई होनी चाहिए। यदि दुर्भाग्य वस खदान में बस से कोई हादसा हो जाता तो इसकी जवाबदेही कौन लेता। क्या परियोजना के महाप्रबंधक अपने आप को जिम्मेदार मानते। इधर एक अन्य मामले में हो रहे घोर विरोध के चलते यह भी चर्चा है कि कुछ आवासीय कॉलोनी के आवंटित कमरों को परियोजना प्रबंधक ने निरस्त कर दिया है।