विंध्य की डायरी
डा0 रवि तिवारी
मुख्यमंत्री डा0 मोहन यादव के नेतृत्व में भाजपा सरकार के सफलतम एक वर्ष पूरे हो चुके है. सरकार के कार्यो और उपलब्धियों को इस समय गा-गा कर लोगो तक पहुंचाया जा रहा है. वही दूसरी तरफ मुख्यमंत्री डा0 मोहन यादव ने विपक्ष को घेरते हुए कहा कि विरोधी पूछते है विकास कहा हो रहा है तो उन्हे मऊगंज में विकास देखना चाहिये, यहां आकर देखे. मऊगंज को जिला बनाने में पहले रोड़ा बने, हमने मऊगंज को जिला बनाया. विकास की दौड़ में पीछे छूट गया था अब हमारी सरकार ही विकास की सौगाते दे रही है. दरअसल मुख्यमंत्री ने मऊगंज में शिलान्यास एवं लोकार्पण समारोह के दौरान जनसभा को सम्बोधित करते हुए विपक्ष पर जमकर हमला बोला और बगैर नाम लिये कहा कि श्रीकृष्ण और श्रीराम का जयकारा लगाते है तो छाती पर सांप लोटते है.
चाहे तुम्हारे कान के पर्दे फट जाए हम रूकने वाले नही है. पूर्व की सरकार के कामो को लेकर सवाल उठाते हुए विपक्ष पर जमकर तंज कसे. मऊगंज के लिये करोड़ो की सौगात दी और विकास कार्यो की घोषणा कर यह बताया कि मऊगंज अब किसी भी क्षेत्र में पीछे नही रहेगा. डा0 मोहन यादव मऊगंज में कई घोषणाएं करके गए है. इन्हे अमली जामा कब तक पहनाया जाएगा यह तो भविष्य के गर्त में है. प्रदेश के अंतिम छोर पर बसे मऊगंज में विकास की पर्याप्त संभावनाएं है. जिले के रूप में जन्म होने के बाद अभी कोई खास काम यहां नही हुआ है. अगर इसी तरह से प्रदेश के मुखिया का समय-समय पर दौरा होता रहा तो निश्चित रूप से विकास की गति को पहिए लग जाएंगे.
प्रभारी मंत्री का कार्यकर्ता करते रह गए इंतजार
भाजपा विश्व की सबसे बड़ी कार्यकर्ता वाली पार्टी कही जाती है और कार्यकर्ता पार्टी के रीढ़ माने जाते है. कार्यकर्ता ही सर्वोच्च है पर जब कार्यकर्ताओं की अवहेलना होती है तो क्या गुजरती होगी. दरअसल ऊर्जाधानी की प्रभारी मंत्री तीन दिवसीय दौरे पर थी और मिलने के लिये बीजेपी कार्यकर्ता इंतजार करते रहे पर मुलाकात नही हुई. सूर्या भवन में कार्यकर्ता इंतजार कर रहे थे और प्रभारी मंत्री पीछे के दरवाजे से अधिकारियों से मिल रही थी. कार्यकर्ताओं से मिलना मुनासिफ नही समझा. विधिवत कार्यक्रम जारी किया गया था कि सुबह 9 बजे से कार्यकर्ताओं से भेंट कर चर्चा करेगी पर शायद अधिकारियों से मिलना प्रभारी मंत्री ने ज्यादा उचित समझा और कार्यकर्ताओं को
तवज्जो नही दिया. दबी जुबान में कार्यकर्ताओ ने कहा अधिकारी अब ज्यादा प्रिय हो गए है, कार्यकर्ता कुछ नही है.
…...विजय की जय हो
सरकार के मंत्रियों के ओएसडी की भी तूती बोलती है, हर क्षेत्र में इनका दखल होता है. बगैर ओएसडी के पत्ता तक नही हिलता. ऐसे में ओएसडी को लेकर अधिकारी-कर्मचारी तो आशंकित रहेगें ही. विंध्य क्षेत्र के एक जिले के प्रभारी मंत्री के ओएसडी इस समय चर्चा में है. जिले के हर काम में ओएसडी की दखल होती है, अधिकारी कर्मचारी भी मुंह नही खोल पाते. यहा तक कि कार्यकर्ता भी नाखुश है. पावर फुल ओएसडी की ताकत का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पूर्व के प्रभारी मंत्री के भी ओएसडी रहे है और अब फिर नए प्रभारी मंत्री के ओएसडी बन गए है. विजय की जय हो यही हर कोई कह रहा है