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ओंकारेश्वर। सोमवती अमावस्या के एक दिन पूर्व रविवार को करीब एक लाख श्रद्धालुओं ने ज्योतिर्लिंग भगवान ओंकारेश्वर जी के दर्शन किए। पवित्र नर्मदा में स्नान कर पुण्य लाभ लिया।
उल्लेखनीय है कि चैत्र मास की अमावस्या को निमाड़ में भूतड़ी अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है। सोमवार को आने से यह सोमवती अमावस्या भी हो गई है और सूर्य ग्रहण खग्रास भी है जो भारत में दिखाई नहीं देगा। इस तरह यह त्रिवेणी योग बना है। इसके मध्य प्रशासन ने पुख्ता प्रबंध किए हैं।
रविवार एक दिन पूर्व चौदस को ग्रामीण क्षेत्र से हजारों लोग ओंकारेश्वर आए और घाटों पर स्नान कर बडवे भोपे और ओझा जानकार लोगों ने पीडि़त लोगों के इलाज नर्मदाजी में खड़े होकर किए। ढोल धमाके के साथ देवी देवता के ईष्ट वाले लोग भी आए। ओंकार पर्वत की परिक्रमा कर मंदिरों के दर्शन किए। प्रात: मंदिर खुलने के साथ ही कतार लग गई थी। जो दिन भर चलती रही दर्शन व्यवस्था के पुख्ता प्रबंध थे। धक्का-मुक्की नहीं देखी गई। विशेष दर्शन बंद कर दिए गए थे। सामान्य रूप से सभी को दर्शन कराए गए। नौकाएं भी 2 दिन के लिए बंद कर दी गई है। सोमवार को भी नोका बंद रहेगी। पार्किंग व्यवस्था नए बस स्टैंड के पास थी और कुबेर भंडारी मंदिर के पास थी।